महोबा। महोबा जिले में ट्रांसपोर्ट मालिको ने 1 दिन पहले जिला अधिकारी को अपनी मांगों को लेकर ज्ञापन सौंपा था । और ज्ञापन के माध्यम से उन्होंने बताया था कि कैसे ओवरलोड वाहन, बिना लाइट वाहन, शहर के अंदर ट्रैक्टरों से गिट्टी और मोरम ले जाने पर कार्यवाही की जाती हैं। इन्हीं सब समस्या से मुक्त कराने की ज्ञापन में मांग की थी। साथ ही उन्होंने ज्ञापन के माध्यम से अवगत कराया था कि बेवजह वाहनों का चालान न किया जाए क्योंकि खड़े वाहन का चालान करना सरासर गलत है। पर जिला अधिकारी ने ज्ञापन में कोई कार्यवाही नहीं की, जिससे आज एक सैकड़ा से अधिक ट्रांसपोर्टरों ने डांक बांग्ला तिरंगा मैदान में जिले के तमाम ट्रैक्टर और अन्य वाहन खड़े कर उप जिला अधिकारी चरखारी, उप जिला अधिकारी महोबा, उप जिला अधिकारी कुलपहाड़ और खनिज अधिकारी महोबा के विरुद्ध धरना दे कर इन अधिकारियों को जिले से हटाने के नारे लगाए। जब जिले के अधिकारी ही पेट पर लात मरेंगे तब आम आदमी कहा जायेगा।
बता दें कि जिले के ट्रांसपोर्टरों ने आज डाक बंगला तिरंगा मैदान में अपनी मांगों को लेकर धरना प्रारंभ कर दिया है। वहीं धरने के दौरान बुलंद नारों के साथ कुलपहाड़ एसडीएम, महोबा एसडीओ, चरखारी एसडीएम, खनिज अधिकारी महोबा और एआरटीओ को हटाने के लिए धरना देकर नारे लगाए हैं। जो अधिकारी आए दिन ट्रांसपोर्टरों को बेहद परेशान कर रहे हैं। ये वह अधिकारी है जो शहर के अंदर मोरम और गिट्टी लादे हुए ट्रैक्टरों का चालान कर देते हैं चाहे वह ट्रैक्टर माल ढोने के बाद किसी दुकान पर खाली खड़ा हो, फिर भी उसका चालान अधिकारियों के द्वारा कर दिया जाता है। उन्होंने कहा कि बाहर से अगर कोई ट्रक माल लेकर मंडी के अंदर आता है और अगर उसका माल 1 दिन नहीं बिकता है तब वह गाड़ी लोड खड़ी होती है। तो भी प्रशासन के यह अधिकारी उनका चालन कर देते हैं जिससे ट्रांसपोर्टरों में अधिक नाराजगी आज साफ दिखाई दे रही है। उन्होंने कहा कि ट्रांसपोर्टर की मांगों को शीघ्र ही प्रशासन ने नहीं माना तो यह धरना आमरण अनशन में बदल जाएगा । उन्होंने कहा कि जब हमारे वाहन का चालान हो जाता है तो हमको किस्त भरना मुश्किल हो जाता है हम महीनों अधिकारियों के चक्कर लगाते रहते हैं जब जाकर हमारे गाड़ियां छूटती है जिससे हमारा परिवार धीरे धीरे भुखमरी की कगार पर पहुंच रहा है।
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