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डॉक्टरों के अभाव के चलते सालों से बंद एवं नाममात्र दिखावा बना लाखों की कीमत से बना ग्राम मुढारी में पशु अस्पताल
ग्राम पंचायत मुढारी में सालों पूर्व से स्थापित आठ लाख रूपये की कीमत से बनी अस्पताल की बिल्डिंग अपनी बिगड़ी हुई हालत को देखकर आंसू बहा रही है। क्योंकि आज तक अस्पताल में ना ही रंग – रोगन एवं पुताई आदि का कार्य हुआ और तो और चौकाने वाली बात तो यह है की अस्पताल के परिसर में घास – फूस से लेकर बड़े – बड़े पेड़ तक उग कर खड़े हो गए है।
यहाँ तक की पूरी बिल्डिंग में अंदर एवं बाहर लगे बोर्ड आदि में यह लिखवाया भी नहीं गया की यह पशु अस्पताल है। जिससे की लोगों को यह साबित हो सकें या जान पाये की आखिर हमारे गांव में पशु अस्पताल भी है। जब इस सम्बन्ध में राजकीय पशुचिकित्सालय जैतपुर में तैनात चिकित्साधिकारी देवेंद्र कुमार राजपूत से जानकारी ली गई तो उन्होंने बताया की मुढारी डिस्पेंशनरी मेरे अधीन में नहीं है।इसके अलावा वहां किसी भी प्रकार का सामान भी उपलब्ध नहीं है एवं ना ही संचालित है और सालों से बंद पड़ी हुई है।इसके लिए पशुधन प्रसार अधिकारियो को तैनात किया जाता है। जिनका पूरे महोबा जनपद में अभाव चल रहा है। अर्थात कुल तीन एल ई ओ पूरे जिले में कार्यरत है।जिसके चलते मुढारी एवं पूरे जैतपुर ब्लॉक के समस्त गांव में पशुओं से सम्बंधित विभिन्न प्रकार के रोग एवं बीमारियों जैसे प्राथमिक उपचार, बधिया करण, टीकाकरण, खुरपका, मुँहपका, थनेला, संक्रामक रोग आदि रोगों की रोकथाम के लिए पशु चिकित्सालय जैतपुर से आवश्यकता अनुसार पैरास्टॉफ को गौशाला एवं पशुपालकों के पशुओं की देखरेख के लिए भेजा जाता है।जबकि मुढारी ग्रामवासियो – प्रकाश राजपूत, बलराम मिश्र, लालता राठौर,देवेंद्र कुमार, चंदन सिंह,हरी अहिरवार, छविलाल कुशवाहा, महेंद्र, प्रेमनारायण,सुजीत,अशोक रैकवार, राजेश सेन, अमरसिंह, आदि का कहना है की गांव के पशुपालको को पशुओं से के इलाज से सम्बंधित सुविधाओं से वंचित होना पड़ रहा है।अगर एमरजेंसी में सरकारी डॉक्टरों को फोन लगाओ तो आते नहीं है और अगर आ भी जाये तो पैसा मांगते है।जिसके चलते लोगों को दूर – दराज के बाहरी डॉक्टरों से उल्टे – सीधे पैसा देकर इलाज करवाने को मजबूर होना पड़ता है।एक तरफ जहाँ जनपद में लम्पी वायरस लक्षण देखने को मिल चुके है। वहीं ऐसी स्थति में अस्पतालों में डॉक्टरो की कमी देखने को मिल रही है। जबकि सरकार ने पशुओं की देखरेख व बेहतर इलाज के लिए पशु पालकों एवं किसानों को इससे लाभान्वित करने हेतु विभिन्न प्रकार की पशु स्वास्थ्य संबंधी कल्याणकारी योजनाओं को पशुधन पालको एवं किसानों तक पहुंचाने के लिए ठोस कदम उठाये है।